Monday, December 8, 2008

चुनाव के सेमी फाइनल में कांग्रेस प्रथम श्रेणी में पास

चुनाव के सेमी फाइनल में कांग्रेस ने साठ फीसदी अंक हासिल कर प्रथम श्रेणी में चुनावी नैया पार कर ली है। पांच राज्यों के विधान सभा चुनावों की गिनती में कांग्रेस ने दिल्ली, मिजोरम और राजस्थान को हथिया लिया है जबकि भाजपा ने सिर्फ दो राज्यों में ही जीत हासिल की है। मतदाताओं ने सरकार विरोधी मत न देकर उनके कार्यो का आत्ममंथन कर ही वोट दिया है जोकि लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए बहुत ही लाभदायक है। नेताओं के बहकावे में कभी नहीं जाना चाहिए। वह सत्ता हथियाने के लिए ही खेल खेलते हैं। सत्ता पा जाने पर मतदाता मूल्यविहीन हो जाते हैं। दिल्ली के चुनाव परिणामों ने भारतीय जनता पार्टी को ही नहीं कांगे्रस को भी चौंकाया जरूर है लेकिन देश की राजधानी में लगातार तीसरी बार सरकार बनाने की उपलब्धि ने उसके उत्साह को कई गुना बढ़ा दिया है तथा अब वह कहीं अधिक विश्वास और जोश के साथ लोकसभा चुनाव की तैयारी करेगी। इन चुनाव परिणामों से भाजपा के सिकुड़ने तथा कांग्रेस के आगे बढ़ने की शुरूआत हो गयी है। इन चुनावों में आतंकवाद और मंहगाई का होवा खड़ा करने का प्रयास किया लेकिन देश के मतदाताओं ने उन्हें पूरी तरह ठुकरा दिया। अब वे सुशासन और विकास की बात करने लगे हैं। दिल्ली में कडे़ मुकाबले के सभी अनुमानों और भाजपा की आशाओं को झुठलाते हुए जनता ने मुख्यमंत्री शीला दीक्षित की विकास की बात का समर्थन करते हुए कांग्रेस को लगातार तीसरी बार राष्ट्रीय राजधानी की सत्ता सौंपी है। दिल्ली विधानसभा की 69 सीटों में से कांग्रेस ने 42 पर विजय प्राप्त कर हैट्रिक लगाई जबकि भाजपा को केवल 23 सीटों पर संतोष करना पड़ा है। बहुजन समाज पार्टी दिल्ली में अपना खाता खोलने में सफल रही।

2 comments:

Unknown said...

आतंकवाद को पनपने के लिए खुली छुट देने वाली शक्ति को लोगो ने जिस प्रकार से बढचढ कर वोट दिया है यह कर देख मन अवसाद से भर जाता है। लगता है की हमारे भाग्य मे और दुखः भोगना लिखा है। देशभक्त एवम राष्ट्रवादी शक्तियो को यह विचार आत्मविश्लेष्ण करना होगा की वह क्यो लोगो को साथ में ले कर नही बढ पा रहे हैं।

Dr. Chandra Kumar Jain said...

संक्षिप्त किंतु सटीक लिखा है
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डॉ.चन्द्रकुमार जैन